स्क्रॉल की पत्रकार पर वाराणसी की महिला ने “गलत बयान गढ़ने” पर दर्ज की एफआईआर

वाराणसी के डोमरी गाँव की एक महिला ने स्क्रॉल.इन की कार्यकारी संपादक सुप्रिया शर्मा और मुख्य संपादक पर एक रिपोर्ट में कथित रूप से ‘बयान को तोड़-मरोड़कर प्रस्तुत करने और उसकी जाति व आर्थिक अवस्था पर उपहास करने के लिए’ एफआईआर दर्ज करवाई है।
कोतवाली क्षेत्र के अधिकारी प्रदीप सिंह चंदेल के अनुसार डोमरी गाँव की महिला ने राम नगर पुलिस थाने में पिछले सप्ताह शिकायत सौंपी थी जिस आधार पर प्राथमिकी दर्ज की गई है। चंदेल ने बताया कि यह मामला जाँच के लिए उनके पास है।
भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 269 (लापरवाही से प्राणघातक बीमारी का प्रसार) और 501 (मानहानि करने वाली सामग्री का प्रकाशन) व एससी/एसटी अधिनियम की कई धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
The @varanasipolice has booked senior journalist @sharmasupriya of @scroll_in on charges like defamation and sections of the SC / ST act after a complaint by a woman who was a case study in a recent story filed by Supriya from a village adopted by PM Modi in the east UP city…. pic.twitter.com/HOliJDNsTb
— Alok Pandey (@alok_pandey) June 18, 2020
संसद के रूप में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा गोद लिए गए गाँवो में से एक है डोमरी। शिकायतकर्ता ने बताया कि वह वाराणसी नगर निगम के लिए सफाई कर्मचारी के रूप में काम करती है और डोमरी में रहती है।
उसने बताया कि लॉकडाउन के दौरान स्वयं को पत्रकार बताकर एक महिला उसके पास आई और लॉकाउन के विषय में बात करने लगी। “मैंने उनसे कहा कि अपने परिवार का भरन-पोषण करने में मुझे किसी प्रकार की समस्या का सामना नहीं करना पड़ रहा है। हालाँकि बाद में मुझे पता चला कि समाचार में मेरी बात को गलत करीके से दिखाया गया कि मैं घरों में काम करती हूँ और बर्तन धोती हूँ।”
“समाचार में यह भी लिखा गया कि मैं सिर्फ चाय-रोटी खा रही हूँ और मेरे बच्चे लॉकडाउन के दौरान भूख से तड़प रहे हैं। मैं और मेरे बच्चे खाली पेट सो रहे हैं लिखकर पत्रकार ने मेरी निर्धनता और जाति पर उपहास किया है। इससे मुझे मानसिक पीड़ा हुई है।”, शिकायत में कहा गया।
उसने स्क्रॉल के मुख्य संपादक और पत्रकार पर कार्वाई की माँग की। वहीं स्क्रॉल ने कहा है कि उसे शर्मा पर दर्ज एफआईआर की जानकारी है और वे शर्मा की रिपोर्ट के समर्थन में हैं। स्क्रॉल का दावा है कि उनसे बातचीत के दौरान माला देवी ने बताया था कि वह घरों में काम करती है व भोजन के लिए संघर्ष कर रही है।
आईएनएनस से प्राप्त जानकारी समेत